राजस्थान सरकार ने डेयरी सेक्टर को मजबूत बनाने और युवाओं को स्वरोजगार देने के उद्देश्य से सरस डेयरी बूथ आवंटन नीति-2021 में जरूरी बदलाव करने का फैसला किया है। इसके तहत पूरे प्रदेश में 2500 नए सरस डेयरी बूथ खोले जाएंगे। यह फैसला पशुपालन, गोपालन, डेयरी एवं देवस्थान मंत्री जोराराम कुमावत की अध्यक्षता में हुई एक उच्चस्तरीय बैठक में लिया गया, जिसमें कई बड़े निर्णय किए गए।
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सरस डेयरी बूथ आवंटन 2025
सरस बूथ आवंटन प्रक्रिया को पारदर्शी और जनहितकारी बनाने के लिए सरकार ने एक पांच सदस्यीय समिति का गठन किया है। यह समिति बूथ नीति-2021 में संशोधन के लिए सुझावों के आधार पर एक प्रस्ताव तैयार करेगी। समिति में शासन सचिव, नगर निगम आयुक्त, डीएलबी निदेशक, आरसीडीएफ की एमडी और जयपुर दुग्ध संघ के एमडी को शामिल किया गया है। इन विशेषज्ञों की देखरेख में नई नीति को अंतिम रूप दिया जाएगा ताकि युवाओं को अधिक अवसर मिल सकें।

सरस डेयरी बूथ आवंटन नीति में शामिल किए जाएंगे अहम सुझाव
बैठक के दौरान कई महत्वपूर्ण सुझाव सामने आए, जिन्हें नीति में शामिल करने की सिफारिश की गई है। सबसे पहले, अब बूथ आवंटन के लिए आवेदन पत्र संबंधित जिला दुग्ध संघ में जमा कराए जाएंगे। इसके अलावा, नए बूथों के स्थान चिन्हित करने की जिम्मेदारी आरसीडीएफ या जिला दुग्ध संघ की गठित समिति को दी जाएगी। यह स्थान तय करने की प्रक्रिया पूरी तरह पारदर्शी और स्थानीय जरूरतों पर आधारित होगी।
सरकार इस बात पर भी विचार कर रही है कि proposed बूथ के लिए उसी क्षेत्र में रहने वाले पांच किलोमीटर के दायरे के व्यक्ति को प्राथमिकता दी जाए। वहीं, सेना में सेवा दे रहे जवानों के परिजनों को भी पात्रता में शामिल किया जाएगा, ताकि समाज के हर वर्ग को इसका लाभ मिल सके। आवंटन की प्रक्रिया को निष्पक्ष बनाए रखने के लिए लॉटरी प्रणाली अपनाई जाएगी।
प्रदेशभर में 2500 नए बूथ खोलने की योजना
बजट 2024-25 की घोषणा के अनुसार, राजस्थान सरकार प्रदेश के हर जिले में 2500 नए सरस डेयरी बूथ स्थापित करने जा रही है। इस योजना के तहत अब तक कुल 11,536 ऑनलाइन आवेदन प्राप्त हुए हैं। इनमें से 7,861 आवेदन पत्रों को आरसीडीएफ द्वारा स्वीकृति दी गई है और उन्हें संबंधित निकायों को भेजा गया है। वहीं, पिछले वर्षों से लंबित 500 आवेदन अभी भी स्थानीय निकाय स्तर पर निस्तारण की प्रतीक्षा में हैं।
इन सभी आवेदनों में से 2500 पात्र व्यक्तियों को लॉटरी के माध्यम से बूथ आवंटित किए जाएंगे। इस पूरी प्रक्रिया की निगरानी नई गठित समिति करेगी, ताकि कोई भी आवंटन विवाद या भेदभाव से मुक्त रहे।
आरसीडीएफ को सरस पार्लर खोलने के लिए निर्देश
बैठक में यह भी तय किया गया कि आरसीडीएफ प्रदेशभर में नए सरस पार्लर खोलने की संभावनाओं की तलाश करेगा। इसके लिए प्राथमिकता सरकारी चिकित्सालयों, मेडिकल कॉलेजों, शिक्षण संस्थानों, बस स्टैंड और रेलवे स्टेशन जैसे स्थानों को दी जाएगी। इन इलाकों में पार्लर खुलने से आम लोगों को ताजा दुग्ध उत्पाद सुलभ होंगे और युवाओं के लिए रोजगार के नए अवसर सृजित होंगे।
डेयरी मंत्री जोराराम कुमावत ने कहा कि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की मंशा के अनुरूप प्रदेश के युवाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए यह योजना बेहद अहम है। इससे न सिर्फ डेयरी सेक्टर को मजबूती मिलेगी, बल्कि आरसीडीएफ की आय में भी वृद्धि होगी।