पीएम स्व-निधि योजना: पीएम स्व-निधि योजना भारत सरकार की एक खास योजना है, जो छोटे दुकानदारों यानी रेहड़ी-पटरी वालों को बिना किसी गारंटी के लोन (Loan) देती है। पीएम स्व-निधि योजना 1 जून 2020 को शुरू हुई थी, जब कोरोना के समय कई लोगों को आर्थिक मदद की जरूरत थी। इसमें रेहड़ी-पटरी पर सामान बेचने वाले तीन बार लोन ले सकते हैं। पहले ₹10,000, फिर ₹20,000 (अगर पहला लोन समय पर चुका दिया), और आखिरी बार ₹50,000। इस योजना से रेहड़ी वाले अपनी कमाई बढ़ा सकते हैं और डिजिटल तरीके से लेन-देन करना भी सीख सकते हैं।
माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने यह महसूस किया कि स्ट्रीट वेंडर्स भी हमारे देश के परिवार का हिस्सा हैं। उन्होंने इनके उत्थान के लिए “पीएम स्व-निधि योजना” शुरू की। इस योजना ने रेहड़ी-पटरी वालों को न केवल आर्थिक सहायता दी, बल्कि उनके आत्मसम्मान और आत्मनिर्भरता को भी बढ़ावा दिया।
पीएम स्व-निधि योजना क्या है?
पीएम स्व-निधि योजना (PM SVANidhi) केंद्र सरकार की एक विशेष योजना है, जो स्ट्रीट वेंडर्स को बिना गारंटी के लोन देती है। इसकी शुरुआत 1 जून 2020 को की गई थी, खासकर उन रेहड़ी-पटरी वालों के लिए, जो कोरोना महामारी के कारण आर्थिक संकट से जूझ रहे थे। इस योजना के तहत, स्ट्रीट वेंडर्स को तीन चरणों में कम ब्याज दर पर लोन दिया जाता है:
- पहला चरण: ₹10,000 का लोन
- दूसरा चरण: ₹20,000 का लोन (पहला लोन समय पर चुकाने पर)
- तीसरा चरण: ₹50,000 का लोन
योजना का उद्देश्य न केवल रेहड़ी-पटरी वालों की आय बढ़ाना है, बल्कि उन्हें डिजिटल लेन-देन की ओर प्रोत्साहित करना भी है।
योजना का नाम | पीएम स्व-निधि योजना |
शुरुआत की तारीख | 1 जून 2020 |
उद्देश्य | स्ट्रीट वेंडर्स को माइक्रोक्रेडिट सहायता |
लोन की राशि | ₹10,000, ₹20,000, ₹50,000 |
ब्याज दर | समय पर भुगतान पर सब्सिडी |
पीएम स्व-निधि योजना की मुख्य विशेषताएं
प्रधानमंत्री स्व-निधि योजना (PM SVANidhi) का उद्देश्य रेहड़ी-पटरी वालों को आत्मनिर्भर बनाना और उनके व्यवसाय को बढ़ावा देना है। यह योजना लोन, डिजिटल लेन-देन, और सामाजिक सुरक्षा जैसी सुविधाएं प्रदान करती है, जिससे छोटे उद्यमियों को वित्तीय स्थिरता और विकास के अवसर मिलते हैं। योजना की प्रमुख विशेषताएं निम्नलिखित हैं:
योजना की विशेषताएं:
- इस योजना के तहत रेहड़ी-पटरी वालों को बिना किसी गारंटी के लोन मिलता है, जिससे उन्हें अपने व्यवसाय को आगे बढ़ाने का मौका मिलता है।
- योजना के तहत दी जाने वाली ऋण पर ब्याज दरें काफी कम हैं, ताकि छोटे उद्यमियों को वित्तीय भार से राहत मिले और वे आसानी से लोन चुका सकें।
- रेहड़ी-पटरी वालों को डिजिटल लेन-देन को बढ़ावा देने के लिए कैशबैक का लाभ दिया जाता है, जिससे वे आधुनिक लेन-देन प्रणालियों से जुड़ सकें।
- लोन वितरण प्रक्रिया को तेज और सरल बनाने के लिए पीएमएस पोर्टल और मोबाइल ऐप का उपयोग किया गया है, जिससे आवेदन और स्वीकृति प्रक्रिया पारदर्शी बनी रहती है।
- रेहड़ी-पटरी वालों की शिकायतों का शीघ्र समाधान सुनिश्चित करने के लिए 24 घंटे सक्रिय कॉल सेंटर की स्थापना की गई है।
- योजना के तहत लाभार्थियों और उनके परिवारों को अन्य सरकारी योजनाओं जैसे प्रधानमंत्री आवास योजना, उज्ज्वला योजना, और आयुष्मान भारत योजना से जोड़ा गया है, जिससे उन्हें अतिरिक्त लाभ मिल सके।
पीएम स्व-निधि योजना पात्रता
- वे व्यक्ति जो रेहड़ी, ठेले, या छोटी दुकान लगाते हैं।
- शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों के रेहड़ी-पटरी वाले आवेदन के पात्र हैं।
जरूरी दस्तावेज
- आधार कार्ड
- वोटर आईडी कार्ड
- बैंक खाता
- स्ट्रीट वेंडर प्रमाण पत्र (स्थानीय निकाय द्वारा जारी)
अक्सर पूछे जाने वाले सवाल (FAQs)
पीएम स्व-निधि योजना के तहत कितनी बार लोन लिया जा सकता है?
तीन चरणों में लोन लिया जा सकता है: ₹10,000, ₹20,000, और ₹50,000।
क्या लोन पर गारंटी देनी होती है?
नहीं, यह लोन बिना गारंटी के दिया जाता है।
डिजिटल लेन-देन का लाभ कैसे मिलता है?
डिजिटल लेन-देन पर कैशबैक का लाभ मिलता है।
क्या आवेदन करने के लिए ऑनलाइन प्रक्रिया है?
जी हां, आवेदन पीएम स्व-निधि पोर्टल और मोबाइल ऐप के माध्यम से किया जा सकता है।
मै पिछले 5 सालों से ब्लॉगिंग कर रही हूँ , मैं कंप्यूटर साइंस में मास्टर्स हूँ और मेरा मकसद जटिल जानकारी को आसान भाषा में समझाना है , ताकि हर कोई उसे आसानी से समझ सके। खास तौर पर सरकारी योजनाओं, सरकारी नौकरी पर लिखती हु ,जिससे लोगों को मदद मिल सके।